मुकेश अंबानी नौकरों को देते हैं लाखों रुपयों की सैलरी, फिर भी इनके बच्चों को खुद ही करने पड़ते हैं घर के काम,जानिए वजह

मुकेश अंबानी देश के सबसे सफल उद्योगपति है और इसी कारण हम सब जानना चाहते है कि वे खुद और अपने बच्चो को कैसे रखते है. मुकेश और नीता ने अपने तीनों बच्चों की शिक्षा और संस्कार में उस हर बात का ख्याल तो रखते हैं जो उन्हें अच्छा बनाने के साथ ही योग्य इंसान भी बनाए. जैसा कि हर आम आदमी अपने बच्चो के लिए सोचता है. उनकी पत्नी नीता अंबानी ने अपने बच्चों की परवरिश कुछ इस तरह की कि हर मां सुन कर हैरान रह जाएगी. दुनिया के दिग्गज रईसों की लिस्ट में शुमार मुकेश अंबानी अपने बच्चों को स्कूल महंगी कारों से नहीं, बल्कि पब्लिक ट्रांसपोर्ट से पढ़ने के लिए भेजते थे. धनी व्यक्ति के बच्चों की ऐसी परवरिश भी होती है, जिसके बारे में सुनकर आप हैरान रह जाएंगे.

माँ नीता रखती है बच्चों पर नज़र

नीता अंबानी ने टाइम्स ऑफ इंडिया को दिए एक इंटरव्यू में बताया था कि वह अपने बच्चों पर किस तरह से नजर रखती हैं. नीता बच्चे घर से बाहर किसके साथ, कहां पर, क्या कर रहे हैं इसकी वह पूरी जानकारी रखती हैं. मुकेश अंबानी की बेटी ईशा अंबानी ने उसी यूनिवर्सिटी से वही कोर्स किया जिसे छोड़ पिता को वापस आना इंडिया आना पड़ा था. जी हां ईशा अंबानी ने कैलिफोर्निया के स्टैंफोर्ड यूनिवर्सिटी से एमबीए किया है. इससे पहले वह येल यूनिवर्सिटी से साइकोलॉजी और साउथ एशियन स्टडीज में ग्रैजुएशन किया है.

आकाश अंबानी ने मुंबई के चैंपियन स्कूल और धीरूभाई अंबानी इंटरनेशनल स्कूल से स्कूलिंग की है. इसके बाद वह पढ़ाई के लिए अमेरिका चले गए. अमेरिका की ब्राउन य़ूनिवर्सिटी से आकाश ने अर्थशास्त्र में ग्रैजुएशन किया. ग्रैजुएशन के बाद से ही वह अपने पारिवारक बिजनेस से जुड़ गए. मुकेश अंबानी के छोटे बेटे अनंत अंबानी ने मुंबई धीरूभाई अंबानी इंटरनेशनल स्कूल से शुरुआती पढ़ाई की. इसके बाद वह भी अपने बड़े भाई आकाश की तरह अमेरिका चले गए. अनंत अंबानी ने भी अमेरिका की ब्राउन यूनिवर्सिटी से ग्रैजुएशन किया है.

इस कारण करते हैं बच्चे घर की सफाई खुद ही

नौकरों को मिलती है लाखों की सैलरी फिर भी अनुशासन सीखने के लिए अपने कमरे की सफाई खुद करते हैं अंबानी के बच्चे, जानिए वजह
अमीर होने के बावजूद मुकेश और नीता ने कभी अपने बच्चों को लग्ज़री ऐशों आराम नहीं दिए. नौकर को अच्छी खासी पगार देने के बावजूद भी घर के तीनों बच्चों को अपना कमरा खुद ही साफ करना पड़ता था.नीता ने एक बार अपने जीवन का एक किस्सा बताया था कि नीता अंबानी अपने बच्चों आकाश, अनंत और बेटी ईशा को जब स्कूल भेजती थीं तो उन्हें जेब खर्च के लिए इतने कम पैसे देती थीं कि क्लासमेट उनका खूब मजाक उड़ाते थे. एक दिन मुकेश के छोटे बेटे अनंत के हाथ में पॉकेट खर्च के लिए कम पैसे देखकर उसका एक क्लामेट बोला, ‘तू अंबानी है या भिखारी….’ अनंत ने जब घर आकर अपनी मां नीता और पिता मुकेश को यह बताया तो उसे समझाने के लिए उनके पास भी कोई तर्क नहीं था.

बच्चे रहे डाउन-टू-अर्थ

नीता अंबानी हमेशा इस बात का खयाल रखती हैं कि बच्चे डाउन-टू-अर्थ रहें. नीता मुंबई की एक मिडिल क्लास फैमिली में पली-बढ़ी हैं. उनका पालन-पोषण एक अनुशासित परिवार में हुआ. उन्हें घर से बाहर जाने की इजाजत भी बहुत कम मिलती थी. स्कूल-कॉलेज जाने के लिए वे बसों का सहारा लेती थीं.नीता अंबानी शुरू से ही टीचर बनना चाहती थीं, लेकिन जब मुकेश अंबानी से शादी हो गई तो वह अपने बच्चों का होम वर्क स्वयं करवाती थीं. वे हमेशा इसी कोशिश में रहती थी कि बच्चे दौलत के नशे से दूर रहें. नीता अंबानी अपने बच्चों आकाश, अनंत और ईशा को महंगी लग्जरी कारों के बजाए पब्लिक ट्रांसपोर्ट से भेजती थीं, ताकि बच्चे इस दौरान होने वाली कठिनाइयों और परेशानी के साथ ही एक आम आदमी की जिंदगी को नजदीक से समझ सकें.मुकेश और नीता ने अपने बच्चों के पालन-पोषण करने के दौरान उन्हें यह सिखाया है कि वे लोगों का सम्मान कर सकें. नैतिक मूल्यों और पैसे का सम्मान कर सकें. नीता अपने बच्चों को स्कूल जाने के दौरान उन्हें पॉकेट खर्च के लिए सिर्फ 5-5 रुपए देती थीं. शायद इन्हीं सब संस्कारो का परिणाम है कि किड्स काफ़ी सक्सेसफुल है .