मिलिए 10 साल के इस नन्हे बिजनेसमैन से, महज़ आठवीं पास करके आज कमा रहे हैं लाखों रूपये

जैसा कि मोदी जी ने कहा है कि हमारे भारत देश में तेजस्वी लोगों की कोई कमी नहीं है. वही देखा जाए तो भारत के अधिकतर लोग टैलेंट से भरे हुए हैं. हालांकि हर किसी के टैलेंट को उसकी पहचान नहीं मिल पाती लेकिन वहीं कुछ लोग ऐसे भी हैं जिनका दिमाग घोड़े से तेज दौड़ता है और वह कम समय में भी अच्छा खासा नाम बनाने में कामयाब हो जाते हैं. कंप्यूटर के इस युग में आज हम आपको एक ऐसे बच्चे के बारे में बताने जा रहे हैं जो इन दिनों सफलता की बुलंदियों को छू रहा है. बता दें कि इस बच्चे ने आठवीं कक्षा तक की पढ़ाई की है और फिर पढ़ाई छोड़कर कंप्यूटर के साथ पंगे लेना शुरू कर दिया था. कंप्यूटर में उसकी रुचि ऐसा रंग लाएगी अब वह बच्चा Innowebs Tech का मालिक बन चुका है. यह बच्चा कोई और नहीं बल्कि सक्सेसफुल बिजनेसमैन बन चुका तनिश मित्तल है.

बता दें कि तनिश मित्तल का जन्म 7 नवंबर 2005 को हुआ था एसएमएस अभी महज 10 साल के ही हैं. बचपन से ही तनिश की रूचि कंप्यूटर में अधिक और पढ़ाई में कम थी ऐसे में आठवीं के बाद उसने स्कूल छोड़कर कंप्यूटर और वेब डिजाइनिंग वर्क और फोटोशॉप का काम शुरू कर दिया. इतनी कम उम्र के बावजूद भी तनिश ने एडवांस्ड पीजी डिप्लोमा लेवल के कई कोर्स किए हैं जिनमे से एनिमेशन और साइबर सिक्योरिटी कोर्स जैसे बड़े को शामिल हैं. वही तनिश के पापा नितिन मित्तल भी एक जाने माने सॉफ्टवेयर इंजीनियर रहे हैं. तनिश के कंप्यूटर से भी तेज दिमाग होने के चलते अब वह एक कंपनी का फाउंडर व सीईओ बन चुका है.

बता दे कि 6 साल की छोटी सी उम्र में ही इस लड़के ने कंप्यूटर का पूरा बेसिक कोर्स कर लिया था वही पिता नितिन ने भी अपने बच्चे के इस हिडेन टैलेंट को पहचान कर उसे स्कूल छोड़ने के फैसले में साथ दिया था. आठवीं क्लास तक आते आते ही तनिश ने कई तरह के सॉफ्टवेयर बनाने शुरू कर दिए थे और उसने अपने आप को एथिकल हैकिंग, डिजाइनिंग आदि जैसे स्किल्स सीखने के लिए तैयार कर लिया था. इंटरनेट की मदद से तनीश ने 9 साल की उम्र तक कंप्यूटर एनीमेशन, वीडियो एडिटिंग, फोटोशॉप आदि में निपुणता हासिल कर ली थी. हालांकि कभी कबार अपने बेटे के इन टैलेंट को देखकर पिता नितिन भी हैरान रह जाते थे.

नितिन मित्तल हमेशा से अपने बेटे को दुनिया में अलग पहचान दिलवाना चाहते थे तो इसलिए उन्होंने तनिश के स्कूल छोड़ने के फैसले में उसका भरपूर साथ दिया और उसको प्रोफेशनल करने के लिए उनका एडमिशन किसी टेक्निकल संस्था में करवाने की कोशिश की. हालांकि तनिश की उम्र छोटी थी इसलिए किसी भी संस्थान में दाखिला नहीं दिया बाद में किसी तरह उन्होंने प्राइवेट संस्थान से बात करते हुए दाखिला करवाया. पहले तो इस इंस्टीट्यूट ने भी एडमिशन के लिए मना कर दिया था लेकिन बाद में उन्होंने तनिश के स्किल्स को देख कर अपना फैसला बदल दिया था. तनिष आज उन सब बच्चों के लिए मिसाल बन कर सामने आए हैं जो छोटी उम्र के बावजूद अधिक टैलेंटेड होते हैं.