इस वजह से प्रियंका के पापा ने कर दिए थे वेस्टर्न कपड़े बैन, केवल सलवार कुर्ता पहने की थी इजाजत

एक्ट्रेस प्रियंका चोपड़ा ने अपनी किताब ‘अनफिनिश्ड: ए मेमॉयर’ (Priyanka Chopra Book Unfinished: A Memoir) में अपने जीवन से जुड़े कई खुलासे किए हैं और कुछ मजेदार किस्से भी सुनाए हैं। प्रियंका चोपड़ा ने अपनी किताब में जीवन के संघर्ष का भी उल्लेख किया है और बताया है कि कैसे वो बरेली से निकलकर अमेरिका पहुंची हैं। साथ ही प्रियंका के परिवार वालों ने उनके लिए क्या-क्या कुर्बानी दी है। इसपर भी अभिनेत्री ने खुलकर बात की है। अपनी जिंदगी के हर बड़े लम्हे को उन्होंने इस किताब में लिखा है।

इस किताब में अभिनेत्री ने अपने पहले प्यार का भी जिक्र किया है। दरअसल 13 साल की उम्र में प्रियंका को एक अमेरिकी लड़के से प्यार हो गया था।

जब प्रियंका छोटी थी तो उन्होंने अमेरिका जाने की जिद की। जिसके बाद प्रियंका के परिवावालों ने उन्हें अमेरिका में मौसी के यहां भेज दिया। प्रियंका ने अपनी किताब में लिखा कि वो मौसी के घर में रहती थी। जब वो अमेरिका में 9वीं कक्षा में पढ़ रही थी। तो उनकी मुलाकात एक लड़के से हुई। जिसका नाम बॉब था। जो दसवीं क्लास में था। धीरे-धीरे उससे प्यार हो गया। लेकिन मौसी की तरफ से किसी को भी डेट नहीं करने की सख्त हिदायत थी।

 

वहीं एक दिन मौसी के घर में कोई नहीं था। ऐसे में प्रियंका ने बॉब को अपने घर बुला लिया। प्रियंका के अनुसार हम टीवी देखने लगे। फिर जब एक रोमांटिक गाना बजा हम दोनों एक दूसरे के करीब आ गए। एक दूसरे को किस करने ही वाले थी कि मौसी आ गईं। मैंने बॉब को अलमारी में छिपाया दिया। लेकिन परफ्यूम की खुशबू की वजह से वो पकड़ा गया। इसकी शिकायत मौसी ने मां को भी की और मुझे मामा के घर भेज दिया गया। मैं वहां से भी बॉब के टच में थी। लेकिन कुछ समय बाद हमरा ब्रेकअप हो गया।

प्रियंका को अमेरिका में नस्लभेद का काफी सामना करना पड़ा। ऐसे में वो वापस भारत आ गई। प्रियंका के मुताबिक जब वो वापस घर आई तब वो खुद को बड़ा तोप समझती थीं। उनका एक्सेंट भी बदल गया था। जब वे वेस्टर्न ड्रेस में निकलते थीं। लड़के उन्हें घूर-घूर कर देखते थे। इसलिए पापा ने उनके लिए सूट कुर्ते बनवा दिए थे। लेकिन जब लूज़ शर्ट पहनने का मन करता तो वो पापा की शर्ट निकालकर पहन लेती थी।

पापा के थी बेहद करीब

प्रियंका चोपड़ा अपने पिता डॉ. अशोक चोपड़ा से बहुत प्यार करती थीं। उनको इलाज के लिए एक बार विदेश जाना पड़ा था। ऐसे वक्त में रितिक रोशन ने उनके पिता को लंदन भेजने के लिए विमान का इंतजाम किया था। इस बारे में उन्होंने अपनी किताब में लिखा है, ‘हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में रितिक रोशन बहुत ही सफल हैं। उन्होंने एयर इंडिया में अपने संपर्क को फोन किया और मेरे पिता को लंदन भेजने का सफल प्रयास किया। उनके पिता राकेश रोशन ने बोस्टन में हमारे परिवार की मदद की थी। मुझे नहीं लगता उनके मदद के बिना हमारे पिता वहां तक पहुंच पाते। मैं उनकी जीवन भर आभारी हूं और ये मेरे लिए हमेशा दिल के करीब रहेगा।